अगर हमें सहिष्णुता दुलारे न होते
#रदीफ़ - #न_होते
सुनो...अगर हमें सहिष्णुता दुलारे न होते
सच ...आज गर्दिशों में उनके तारे न होते
जो किया ही था बँटवारा तो अलग हो जाते
भाईचारे की आड़ में ऐसे दिन हमारे न होते
कहीं न कहीं व्यवस्थाओं में ही ख़ामियाँ थी
सच कहत हैं आज हम ऐसे बेचारे न होते
छोड़ गद्दियाँ तुम भाप जो पाते बारूदी ताप
कई मासूम सी जाने भगवान को प्यारे न होते
नमकहरामी का दौर सदियों से चला आ रहा
वरना कश्मीर के कुछ हिंदू साथ तुम्हारे न होते
✍स्वरचित
#प्रियंका_सिंह
सुनो...अगर हमें सहिष्णुता दुलारे न होते
सच ...आज गर्दिशों में उनके तारे न होते
जो किया ही था बँटवारा तो अलग हो जाते
भाईचारे की आड़ में ऐसे दिन हमारे न होते
कहीं न कहीं व्यवस्थाओं में ही ख़ामियाँ थी
सच कहत हैं आज हम ऐसे बेचारे न होते
छोड़ गद्दियाँ तुम भाप जो पाते बारूदी ताप
कई मासूम सी जाने भगवान को प्यारे न होते
नमकहरामी का दौर सदियों से चला आ रहा
वरना कश्मीर के कुछ हिंदू साथ तुम्हारे न होते
✍स्वरचित
#प्रियंका_सिंह
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